के वरिष्ठ IPS अधिकारी वाई. पूरन कुमार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाने वाले ASI संदीप लाठर की मंगलवार दोपहर रोहतक जिले के धामड़ रोड पर आत्महत्या के बाद परिजनों ने पोस्टमॉर्टम और अंतिम संस्कार से इनकार कर दिया है। मृतक का शव फिलहाल उनके मामा के घर लाढ़ौत गांव में रखा गया है। परिवार का कहना है कि जब तक दोषियों के खिलाफ FIR दर्ज नहीं होगी, तब तक वे अंतिम संस्कार नहीं करेंगे।
घटना का विवरण
जानकारी के अनुसार, ASI संदीप लाठर ने अपने मामा के खेत में बने कोठड़े की छत पर सर्विस रिवाल्वर से खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। उन्होंने आत्महत्या से पहले एक वीडियो बनाया और चार पेज का सुसाइड नोट छोड़ा, जिसमें उन्होंने वरिष्ठ IPS वाई. पूरन कुमार पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए।मौके पर मौजूद मजदूर ने बताया कि वह नहर के पास गया था, और जब वापस आया तो कोठड़े के पास गोली चलने की आवाज सुनी। तुरंत दौड़कर मौके पर पहुंचने पर उन्होंने देखा कि संदीप ने खुद को गोली मार रखी है। उन्होंने तुरंत मामा के बेटे अजीत को घटना की सूचना दी।
परिवार का बयान
संदीप के मामा बलवान देशवाल के बेटे संजय ने बताया कि संदीप पिछले 2-3 दिन से मानसिक रूप से परेशान चल रहा था। रविवार को भी उनका परिवार से संपर्क हुआ था और दो घंटे साथ में बिताने के बाद भी उनके चेहरे पर चिंता साफ नजर आ रही थी। उन्होंने कहा कि जब तक आरोपियों के खिलाफ FIR दर्ज नहीं होगी, तब तक वो लोग संदीप का अंतिम संस्कार नहीं करेंगे।
राजनीतिक और प्रशासनिक प्रतिक्रिया
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी, कैबिनेट मंत्री कृष्ण लाल पंवार और महिपाल ढांडा बुधवार सुबह लाढ़ौत गांव पहुंचे और मृतक के परिवार को सांत्वना दी। मुख्यमंत्री ने आश्वासन दिया कि मामले की निष्पक्ष जांच होगी और दोषियों को सजा मिलेगी। उन्होंने जिला उपायुक्त को पोस्टमार्टम तुरंत करवाने और मामले की निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करने के सख्त आदेश दिए।
इनेलो नेता सुनैना चौटाला ने भी परिवार से मुलाकात की और कहा कि पार्टी परिवार के साथ खड़ी है। उन्होंने कहा कि जांच निष्पक्ष होनी चाहिए, किसी प्रकार की लीपापोती बर्दाश्त नहीं की जाएगी और परिवार को पूर्ण न्याय मिलना चाहिए।
पोस्टमार्टम को लेकर विवाद
रोहतक जिला पुलिस की साइबर सेल के ASI संदीप लाठर की आत्महत्या के बाद, ग्रामीणों ने शव को पुलिस को सौंपने से इंकार कर दिया। मंगलवार शाम को ग्रामीण शव को ट्रैक्टर ट्रॉली में लाढ़ौत गांव ले गए। फोरेंसिक और पुलिस जांच के बाद शव को कब्जे में लिया गया, लेकिन ग्रामीणों ने पूरे मामले में न्याय की मांग करते हुए कहा कि बिना आरोपियों की गिरफ्तारी के अंतिम संस्कार नहीं होगा।
यह घटना हरियाणा में पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के खिलाफ बढ़ते भ्रष्टाचार और अधिकारियों के दबाव की गंभीर चेतावनी के रूप में सामने आ रही है। ASI संदीप लाठर की आत्महत्या ने राज्य में न्याय व्यवस्था, पुलिस और प्रशासनिक कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।