BREAKING

India

अंडमान का सक्रिय ज्वालामुखीः8 दिन में हुए 2 धमाके ,विस्फोट से निकली राख व गैस प्रशासन ने दी चेतावनी

अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह के बैरन द्वीप पर 13 और 20 सितंबर को दो ज्वालामुखी विस्फोट हुए।हालांकि ये विस्फोट मामूली थे। यह भारत का एकमात्र सक्रिय ज्वालामुखी है। अधिकारियों ने सोमवार को इस बारे में जानकारी दी। यह द्वीप पोर्ट ब्लेयर से लगभग 140 किलोमीटर दूर है। बैरन द्वीप में 8 दिन के भीतर दो बार छोटे-छोटे ज्वालामुखी विस्फोट हुए। हालांकिये विस्फोट मामूली थे जिससे ज्यादा नुकसान नहीं हुआ।

भारत का एकमात्र सक्रिय ज्वालामुखी
बैरन द्वीप भारत का एकमात्र सक्रिय ज्वालामुखी है। यह द्वीप पोर्ट ब्लेयर से समुद्र के रास्ते लगभग 140 किलोमीटर दूर है। बैरन द्वीप का कुल क्षेत्रफल 8.34 वर्ग किलोमीटर है। यह बहुत बड़ा नहीं है। अंडमान और निकोबार प्रशासन के अनुसार, बैरन द्वीप पर पहला विस्फोट 1787 में हुआ था। इसके बाद 1991, 2005, 2017 और 2022 में भी छोटे विस्फोट हुए।

सबसे पहला विस्फोट 1991 में

भारत का एकमात्र जिंदा ज्वालामुखी अंडमान-निकोबार द्वीप स्थित बैरन ज्वालामुखी है। यह 150 शांत रहने के बाद साल बाद 1991 में सक्रिय हुआ था। अब वैज्ञानिकों ने फिर उसे लावा उगलते पाया है। गोवा स्थित नैशनल इंस्टिट्यूट ऑफ ओसनग्राफी के शोधकर्ताओं ने कहा था कि इससे राख निकल रहा है। CSIR

CSIR-NIA ने संयुक्त बयान में कहा था कि अंडमान-निकोबार पर जिंदा ज्वालामुखी फिर से भड़क गया है।

 प्रशासन ने लोगों को सावधानी बरतने की सलाह दी 

हालांकि, ये विस्फोट मामूली थे, लेकिन राख और गैस का उत्सर्जन स्थानीय वातावरण को मामूली प्रभावित कर सकता है। बैरन द्वीप पर विस्फोट के बाद स्थानीय प्रशासन ने टूरिस्टों और स्थानीय लोगों को सावधानी बरतने की सलाह दी है, क्योंकि विस्फोट से निकली राख और गैस जहरीली हो सकती है और लोगों के लिए खतरा पैदा कर सकती है। विस्फोट के बाद पूरे आसमान में धुआं और राख का गुबार फैल गया था, जो देखने में काफी ज्यादा खतरनाक लग रहा था।

 

Leave A Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Posts

Subscribe to Our Newsletter!

This will close in 0 seconds